शूटिंग इवेंट इस बार कॉमनवेल्थ गेम्स में देखने को नहीं मिलेगा। 28 जुलाई से शुरू हो रहे बर्मिंघम कॉमनवेल्थ गेम्स में शूटिंग को शामिल नहीं किया गया है। इसकी वजह संसाधनों की कमी बताई जा रही है।शूटिंग कॉमनवेल्थ गेम्स में ऑप्शनल स्पोर्ट की लिस्ट में है। मेन लिस्ट में कुल 15 खेल ऐसे हैं, जिन्हें हर बार कॉमनवेल्थ गेम्स शामिल करना जरूरी होता है। इस लिस्ट में पहले केवल 10 खेल ही शामिल थे। साल 2018 में इस लिस्ट में 5 नए खेलों को जोड़ा गया था।
ऑप्शनल स्पोर्ट्स का यह है नियम
कॉमनवेल्थ गेम्स में शूटिंग एक ऑप्शनल खेल है। कॉमनवेल्थ गेम्स की 15 खेलों की मेन लिस्ट में ये शामिल नहीं है। ऑप्शनल स्पोर्ट को रखना या न रखना होस्ट के ऊपर निर्भर करता है। इस बार बर्मिंघम ने ऑप्शनल स्पोर्ट्स की लिस्ट से शूटिंग को शामिल नहीं किया है।
क्या बताई गई वजह
शूटिंग को शामिल न करने पर वजह बताई गई कि बर्मिंघम शहर में अच्छे शूटिंग रेंज नहीं हैं। इंफ्रास्ट्रक्चर और संसाधनों का हवाला देकर शूटिंग को कॉमनवेल्थ गेम्स 2022 में शामिल नहीं किया गया है।
भारत के लिए कितना महत्त्वपूर्ण था शूटिंग गेम
भारत ने हर बार कॉमनवेल्थ गेम्स में अपना बेस्ट प्रदर्शन किया है। 2018 में भारतीय टीम ने कुल 16 मेडल अपने नाम किए थे और मेडल टैली में भारत को तीसरे स्थान तक पहुंचाया था। अब तक कॉमनवेल्थ गेम्स में भारत ने 63 गोल्ड मेडल के साथ कुल 135 मेडल शूटिंग में ही हासिल किए हैं। शूटिंग के सहारे भारत की मेडल टैली हमेशा से ही मजबूत रही है। शूटिंग के शामिल न होने से ये खतरा बना हुआ है कि क्या भारत अपनी गोल्ड कोस्ट की पोजीशन को बर्मिंघम में बरकरार रख पाएगा?
